साया
साये और रोशनी में
साये और रोशनी में
कुछ अटूट सा नाता है
रौशनी के पहलू में
साया सुख पाता है
चुपचाप चलता है
ख़ामोशी में रहता है
पत्थर या पानी
दोनों पर ठहरता है
जब वक़्त आता है
बिजली की रफ़्तार से
तेज दौड़ लगाता है
ओलंपिक्स में गोल्ड मैडल पाता है
साया साथ देता है
बदले में कुछ नहीं मांगता
हाँ बस इतना जरूर है
साया भी वक़्त के हाथों मजबूर है
घनी काली रातों के सायों में
छुप सा जाता है
रहता फिर भी साथ है
पर नज़र नहीं आता है
किसलय 2012
जब वक़्त आता है
बिजली की रफ़्तार से
तेज दौड़ लगाता है
ओलंपिक्स में गोल्ड मैडल पाता है
साया साथ देता है
बदले में कुछ नहीं मांगता
हाँ बस इतना जरूर है
साया भी वक़्त के हाथों मजबूर है
घनी काली रातों के सायों में
छुप सा जाता है
रहता फिर भी साथ है
पर नज़र नहीं आता है
किसलय 2012
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